Page 24 - NIS Hindi 2021 November 1-15
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आवरण      लोकिल िे गलोबल
          कि्ा     भारतीय उतपाद




        एक नजलसा-एक उतपसाद

                                                                                  ं
                                                                                                   े
        से आतमतनभ्यरिा की ओर                                           किभी आतकिी घटनाओं कि सलए
                                                                         बदनाम रहे पुलवामा किी नई
                                                                                                       ू
                                                                         पहचान पेंसिल सवलेज उ्ख
        बढ़िे भारि के कदम                                                बना है। भारत में 80% पेंसिल

                                                                               े
                                                                           सलट यहीं तैयार होती है।
          आतमट्नभमार भारत अट्भयान के तहत सूक्म खाद् उद्ोग
        n
                                मा
          उन्नयन योजना में एक वर के भीतर छोटी इकाइयों की
          सथापना की ट्दिा में कई उललेखनीय पहल की गई है।

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          फूि प्ोसेट्संग के क्त्र में अपार संभावनाओं को देखते हुए एक
        n
          ट्जला-एक उतपाद योजना की िुरुआत की गई।
                                                                     है। प्रधानमंत्रली मोदली के आतमननभयार भारत का नवजन पांच
          इसके तहत फूि प्ोसेट्संग में काम कर रहे सवयं सहायता
        n                                                            ट्तंभों- उिाल भरने वालली अथयावरवट्था, नवशव ट्तरलीर
          समूहों को उपकरणों की खरीद पर ट्वत्तीय मदद दी जाती है।      बननरादली ढांचा, तकनलीक आधाररत वरवट्था, देश कली
                                                                       यु
                                                                     ताकत बन चयुकली नवनवधता से भरली आबादली और मांग-
                                                                     आपूनतया कली श्ृंखला का पूरली क्मता के साथ इट्तेमाल पर
                                                                     आधाररत है।

                                                                     एक भजला-एक उतपाद से
        राजयों/किेंद्र शासित          17 राजयों में 54 इंनयूबेिन     लोकल हो रहा गलोबल
     प्रदेशों किे 707 सजलों में       सेंटर की सथापना को भी          प्रधानमंत्रली मोदली कली रोजना- एक नजला, एक उतपाद ने
                                      मंजूरी दे दी गई है। इन सेंटरों
      एकि सजला-एकि उतपाद              से नए उद्ट्मयों को भरपूर       ट्थानलीर उतपादों को वैस्शवक बनाने में महतवपूणया रोगदान
         किो समली मंजूरी।             मदद मुहैया कराई जाती है।       नदरा है। देश में पहलली बार कई कलट्टरों से भली कृनर

                                                                            यु
                                                                     ननरायात हए हैं। उदाहरण के तौर पर वाराणसली से ताजली
                                                                     सस्बजरों और चंदौलली से काले चावल का पहलली बार
          नए उद्ट्मयों को हर तरह की तकनीकी जानकारी मुहैया कराने
        n                                                            ननरायात हआ है। नजससे उस क्त्र के नकसानों को सलीधे
                                                                                            े
                                                                            यु
          के ट्लए 491 ट्जलों में ट्विरज्ों की ट्नयुस्कत कर दी गई है।
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                                                                     लाभ नमला है। इसके अलावा देश के अ्र कलट्टरों
                                                                             यु
          िढ़ दजमान राजयों में 470 ट्जला सतरीय प्ट्िक्कों को भी उद्ट्मयों   जैसे नागपर से संतरे, अनंतपर से केले, लखनऊ से
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                                                                                            यु
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          के प्ट्िक्ण के ट्लए रखा गया है, जो समय-समय पर उनहें        आम  आनद  भली  ननरायात  हए  हैं।  भारतलीर  कृनर  उतपादों
                                                                                        यु
          प्ट्िट्क्त करते रहेंगे।                                    कली इस सफलता में पहलली बार ननरायात नकए जाने वाले
                                                                     उतपादों ने महतवपूणया भूनमका ननभाई है। रे ऐसे उतपाद
                                                                     हैं नज्हें पहलली बार देश से बाहर भेजा गरा और इसने
                                                                            यु
                                                                     अपनली गणवत्ता कली वजह से नवदेशली बाजारों में धूम मचा
                                                                     दली है। पहलली बार मई में 4 हजार नकलो आगगेननक- सांवा
                                                                     चावल और जौ िेनमाक्फ भेजे गए। इस साल असम से
                                                                     40 मलीनरिक टन लाल चावल पहलली बार अमेररका को
                                                                     ननरायात नकरा गरा। इसली तरह पूववोत्तर का बममी अंगूर और

                                                                        यु
                                                                                                          यु
                                                                     नत्रपरा से दो खेपों में (मई 1.2 मलीनरिक टन और जलाई
                                                                     में 1.6 मलीनरिक टन) कटहल लंदन भेजे गए। इसली तरह

          22  न्यू इडिया समाचार | 1-15 नवंबर 2021
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