Page 17 - NIS Hindi 2021 November 16-31
P. 17

सवसथ मनिला



                           सुरषिा का आधार


                                                                        27 फीसदी और गवकास दर
             कुपोषण के गखलाफ राष्ट्रव्ापी पोषण अगभ्ान चला्ा जा रहा
                                                                      ं
             है। गपछले 4 वषयों में 11 हजार करोड़ रुप्े अगधक का आवरन
                                                                        27 फीसदी और गवकास दर
             हुआ तो गमशन इंद्रधनुष और मातृतव वंदना जैसी ्ोजनाओं के
             जररए मगहला सवास्थ् के क्ेत् पर खास ध्ान गद्ा ि्ा है।       27 फीसदी और गवकास दर
             11000                  करोड़ से अतधक का आ्ंटन हुआ। कुपोषण के तिलाफ   गरवती मनिलाओं को सिारा

                                                                                     ्ष
                                    राष्ट्वयापी पोषण अतभयान में तपछले 4 ्षषों में।
                                                                                    ्भ
                                                                                िभ्िी और दुगधपान कराने ्ाली
                         बेहिर पोषण पररणामों             प्रधानमंत्ी मािृ ्ंदना   मािाओं के बैंक िािे में सीधे 5 हजार
                         के तलए अब पोषण 2.0              योजना से स्सथ मािृत्   रुपये की रातश (िीन तकसिों में)
                         शुरू तकया िया।                  सुतनश्चिि हो रहा।      प्रोतसाहन के रूप में।


                                                                                                            ्भ
                                                                                जन्री 2021 िक में 1.83 करोड़ िभ्िी
                                                                                मतहलाओं ने इस योजना का लाभ उठाया।



                                                                                                            े
                 आतमननरर मनिला शक्त                                 में फैसला नदरा तो उसे मानने कली बजाए संसद के िाट्त कोट्ट के
                                   ्ष
                                                                    फैसले को हली ननषप्रभावली कि नदरा गरा? अगि इस देश में सतली
                                                                    प्रथा को खतम कि सकते हैं, भ्ूर हतरा को खतम किने के कानून
                                    n स््टा्ट्ड अप इंनडया के तहत िारी
                                      शक्कत न्मसाल काय्म कर रही हैं।   बना सकते हैं, अगि बाल-नववाह के नखलाफ आवाज उ्ठा सकत  े
                                                                    हैं, दहेज में लेन-देन कली प्रथा के नखलाफ क्ठोि कदम उ्ठा सकत  े
                                    n  लगरग आधे स््टा्ट्डअप ्में ्मनहला   हैं, तो करों न तलीन तलाक के नखलाफ भली आवाज उ्ठारा गरा?
                                      उद्य्मी हैं, नजि्में राजयों और केंद्   इसके नलए सिकाि में ब्ठ लोगों के दस्षटकोर को समझना जरूिली
                                                                                              ृ
                                                                                      े
                                                                                     ै
                                      शानसत प्रदेशों ्में क्म से क्म 1
                                                                                ें
                                                                            ं
                                      ्मनहला निदेशक हैं।            है। प्रधानमत्रली निद्र मोदली से जब भली नरिपल तलाक कानून को लेकि
                                                                    सवाल नकरा गरा तो उनहोंने दो-टूक कहा, “रह काम हमने वोट के
                                    n स््टैंड अप इंनडया योजिा से ्मनहला   नलए नहीं नकरा। मैं सिकाि दल के नलए नहीं चला िहा हं, बस्लक
                                                                                                            ू
                                      उद्यन्मता को बढ़ािा न्मल रहा है।
                                                                                            ू
                                                                    देश के भनवषर के नलए चला िहा हं। नरिपल तलाक कानून मिे नलए
                                                                                                             े
                                    n इस्में 90 हजार से अनधक        नहंदू-मयुस्ट्लम का नहीं, नािली सममान का नवषर है। मयुस्ट्लम देशों
                                      ्मनहलाओं के नलए 20 हजार       में भली नरिपल तलाक को मानरता नहीं है। पानकट्तान में भली कानूनली
                                      करोड़ रुपये से अनधक के ऋण      िोक है। बाल नववाह, नवधवा पननवयावाह, सतली प्रथा, दहेज प्रथा
                                                                                           यु
                                      की ्मंजूरी।
                                                                                                       यु
                                                                    जैसे नवषरों पि कदम उ्ठाए गए तो करा रह नहंदओं के नखलाफ
                                    n इस योजिा के तहत 83 % ऋण       था। इसनलए नरिपल तलाक भली लैंनगक समानता, सामानजक नरार
                                      ्मनहला उद्य्मी को नदया गया है।   का मामला है। भाित इस मत का है नक सभली को समानता नमलनली
                                    n ्मानज्भि ्मिी को 25% से घ्टाकर   चानहए।”
                                      15% कर ऋण को सुलर नकया          दिअसल 'तलीन तलाक' रा 'तलाक-ए-नबद्त' जो ना संवैधाननक
                                                                                             यु
                                                                                               े
                                      गया।                          तौि से ्ठलीक था, ना इट्लाम के नकतनजि से जारज था। नफि

                                                                                         न्यू इडिया समाचार | 16-30 नवंबर 2021 15
                                                                                            ं
   12   13   14   15   16   17   18   19   20   21   22