Page 56 - NIS Hindi 16-31 Aug 2022
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आर.एि.आई                                                              आरएनआई DELHIN/2020/78812, डदलली पोसटल
                                                                              लाइसेंस नंबर-  DL (S)-1/3550/2020-22 िबल्यूपीपी संख्ा-
       DELHIN/2020/78812                                                     U (S)-98/2020-22, posting at BPC, Meghdoot Bhawan,
         16-31  अगसत, 2022                                                    New Delhi - 110001 on 13-17 advance Fortnightly
                                                                                  (प्र्ाशन डतडथ-03 अगसत 2022, ्ुल पृष्ठ-56)


                                                                      प्रणब मुख
                                                     व्
                                                                 ब्त
                              ‘भारत रत्न’ पूव् राष्ट्पब्त प्रणब मुखजजी
                                                                                          जी
                                                                                       ज
                              ‘भारत रत्न’ पू
                                                        राष्ट्प
                                                               ृ
                                                               ृ
                             की द   ू सरी पुण्य  ब्तनथ  पर क    तज्ञ राष्ट् का नमन...
                             की दूसरी पुण्यब्तनथ पर कतज्ञ राष्ट् का नमन...
                                                                ब्तनथ
                                                     31 अगस्त पुण्यब्तनथ
                                                   31 अगस्त पुण्य
              राष्ट्रपडत ्े रूप में : राष्ट्रपडत पद
                        ने
              पर रहत हुए दश व डवदश में अपनी
                                ने
                    ने
              डवद्ता और अभ्ास सवभाव तथा
                              यू
              इडतहास व अंतरराष्ट्री् मामलों ्े
                                    ने
                  ने
              अपन ज्ान ्े माध्म स हमशा
                                 ने
              राष्ट्र ्ा मान बढ़ा्ा।
              ए् मंरिी ्े रूप में : प्रणब मुखजजी
               ने
                               ने
              न ्ई दश्ों ्े अपन लंब  ने
              राजनीडत् जीवन ्े दरौरान प्रमुख
              आडथ्ष् और रणनीडत् मंरिाल्ों
                                   ने
              में अडमट ्ोगदान डद्ा। व ्ई
              दश्ों त् भारती् राजनीडत ्े
              डक्डतज में प्रणव ्ी तरह ही
              ्ांडतमान रह ्र ्ाम ्रत रह। ने
                                    ने
              ए् सांसद ्े रूप में : प्रणब
                              ने
              मुखजजी ्े भारणों न अचछी बहस
                        ने
              ्े साथ ही दश ्ो नई डदशा भी
                                     ने
                        ने
              प्रदान ्ी। व सदैव सजग रहत थ  ने
              और इस्े साथ ही अत्त मुखर
                                 ं
              और हाडजर जवाब भी थ।
                                 ने
             वह दश ्े डलए अपनी डनष््ाम
                  ने
               ने
              सवा और अडमट ्ोगदान ्े डलए
                ने
              हमशा ड््ने जा्ेंग ्ाद...
                             ने




                                                                                     ्
                                                                                                       ा
                                                                  डम
                                                                                                        न एवं
                                                                                                      द्
                                   ने
                                    हमार
                                               े
                                                                                                    डव
                                                                                        ऐस
                                        ने
                                                                                          ने
                                                                                           स
                                               डव्
                                         राष्ट्र
                                                                                          ने
                                        ने
                                             ्
                                   ने
                                                                    ट छाप छो
                                                              ्
                                                                               । वह ए
                                                                अ
                                                                                              वोत्
                                                                             ड़ी

                                                                                            व
                               ज
                                जी न
                                                                                                 ृष्ट
             भारत रत्न प्रणब मुख
                                                   ास पथ पर ए
             भारत रत्न प्रणब मुखजजी न हमार राष्ट्र ्े डव्ास पथ पर ए् अडमट छाप छोड़ी। वह ए् ऐस सववोत्ृष्ट डवद्ान एवं
                                                                                   ्
                                                                           े सभी तब
                                                      डत्
                                                                                     ों
                                                           दल और समाज
                                                                                      ्
                                                                         ्
                                                                                                  थ
                                                                                                 ने
                                                                                                   ने
                                                                                                 ने
                          ता थ
                          ने
                                                                                              रत
                                                                                                   ने
              बहतरीन राजनता थ डजन्ा सममान सभी राजनीडत् दल और समाज ्े सभी तब्ों ्े लोग ्रत थ। भारत ्े        े
                                                                                                          ्
                                                                                                   । भारत
               ने ब
               ने
               हतरीन राजन
                                        मा
                                                                                        े लोग
                              ने
                               डज
                                     ा सम
                                   ्
                                 न

                                                                                             ्
                          ने
                                          न सभी राजनी
                              ने
                                                                   र्
                                                                                      डध्
                                                                                           सुलभ एवं सहज बना
                                                                         डल
                                                                           ए और भी अ
                                                                        े
                                                                     ों
                                                                       ्
                                          राष्ट्रप
            राष्ट्रप
                                         ने
            राष्ट्रपडत ्े रूप में प्रणब मुखजजी न राष्ट्रपडत भवन ्ो आम नागरर्ों ्े डलए और भी अडध् सुलभ एवं सहज बना
                                                  भवन
                                               डत
                                         ने
                    ्

                 डत
                                       जी न
                                     ज
                      े रूप में प्रणब मुख
                                                       ्
                                                         ो आम नागर
                                                                                                      ें
                           ने
              डद् ा था। उन ह ोंन ने  राष्ट्रप डत  भवन  ् ो ज् ा न  प्रालपत , नवाचार, संस् ृडत ,  डव ज् ा न और सा डह त ्   ् ा ए ्  उत् ृष्ट   ् द्  बना
              डद्ा था। उनहोंन राष्ट्रपडत भवन ्ो ज्ान प्रालपत, नवाचार, संस्ृडत, डवज्ान और साडहत् ्ा ए् उत्ृष्ट ्द् बना
                                                                                                      ें
                                                            ा
                                                         ी ज्
                                                                       ्
                                        डत
                        डद्ा था। प्रमुख नीडतगत मुद्ों पर उन्ी ज्ानपयूण्ष सलाह ्ो मैं ्भी नहीं भुला पाऊंगा।
                                                               यूण्ष
                                                                  सलाह
                                                            नप
                            ा था। प्रमुख नी
                        डद्
                                                ों
                                                       ्
                                                  पर उन
                                                                         ो मैं
                                                                             ्
                                                                              भी नहीं भुला पाऊंगा।
                                          गत मुद्
                                                             , प्रधानमं
                                                                    रिी
                                                     नरें
                                                         मोदी
                                                   - - नरेंद् मोदी, प्रधानमंरिी
                                                       द्
                                                                                                                षे
                                                                                                           षे
                                                                                         ु
                                                   ु
                 रििाि सं्पादक:            रिकाशक और ्मरिक:    क्मरा संखया-278,  बयूरयो ऑफ आउटरीि   ्मरिण: इिनफनिटी एरवटा्भइनजंग सनव्भसस रिाइवट
                                                                                                        षे
                                                     षे
            सतयषे्रि रिकाश, रििाि ्महानिदशक,    ्मिीष दसाई, ्महानिदशक    एंर कमयुनिकेशि, सूििा रवि, नवितीय   नलन्मटेर, एफबीरी वि कॉ्पवोरट ्पाककि, 10वीं
                           षे
                                              षे
                                                                                                          ्ट
                                                                                         ं
            ्पत्र सूििा काया्भलय, िई नदलली  केंरिीय सूििा बयूरयो  तल, िई नदलली- 110003 स रिकानशत  ्मनजल, िई नदलली-फरीदाबाद बॉरर, एिएि-1,
                                                                              षे
          54  न्यू इंडि्ा समाचार   16-31 अगस्त 2022                                            फरीदाबाद-121003
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