Page 48 - NIS Hindi 01-15 July 2022
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राष्ट्र  प्रधनामंत्री का बलॉग



                              रे  नसफ्फ  एक  शबद  नहीं  है।

                              जलीवन कली रे वो भावना होतली
                                      े
                                           या
                              नजसमें  स्ह,  धैर,  नवशवास,
                              नकतना कुछ समारा होता है।
           मां दुननरा का कोई भली कोना हो,
                                                   े
          कोई भली देश हो, हि संतान के मन में सबसे अनमोल स्ह
          मां के नलए होता है। मां, नसफ्फ हमािा शिलीि हली नहीं गढ़तली
          बस्लक हमािा मन, हमािा वरस्कततव, हमािा आतमनवशवास

          भली गढ़तली है। औि अपनली संतान के नलए ऐसा किते हुए वो
          खुद को खपा देतली है, खुद को भुला देतली है।
             आज मैं अपनली खुशली, अपना सौभागर, आप सबसे
          साझा किना चाहता हूं। मेिली मां, हलीिाबा आज 18 जून
          को अपने सौवें वषया में प्रवेश कि िहली हैं। रानन उनका
          जनम शताबदली वषया प्रािंभ हो िहा है। नपताजली आज होते,
          तो नपछले सपताह वो भली 100 वषया के हो गए होते। रानन
          2022 एक ऐसा वषया है जब मेिली मां का जनमशताबदली
          वषया  प्रािंभ  हो  िहा  है  औि  इसली  साल  मेिे  नपताजली  का

          जनमशताबदली वषया पूणया हुआ है।
             नपछले हली हफते मेिे भतलीजे ने गांधलीनगि से मां के कुछ
          वलीनिरो  भेजे  हैं।  घि  पि  सोसारटली  के  कुछ  नौजवान
          लड़के आए हैं, नपताजली कली तट्वलीि कुसती पि िखली है,
          भजन कलीतयान चल िहा है औि मां मगन होकि भजन गा           मैं जब अपनरी मां और
          िहली हैं, मंजलीिा बजा िहली हैं। मां आज भली वैसली हली हैं।   उनक जैसरी करोड़ों नाररयों
                                                                         े
          शिलीि कली ऊजाया भले कम हो गई है लेनकन मन कली ऊजाया

          रथावत है।                                              क सामर् को दििा ह,
                                                                                                      ं
                                                                                           े
                                                                                  ्य
                                                                   े
             वैसे हमािे रहां जनमनदन मनाने कली कोई पिंपिा नहीं
          िहली है। लेनकन परिवाि में जो नई पलीढ़ली के बच्चे हैं उनहोंने   िो मुझे ऐसा कोई भरी लक्ष्
          नपताजली के जनमशतली वषया में इस बाि 100 पेड़ लगाए हैं।   नहीं ददिाई दिा जो भारि
                                                                                       े
             आज मेिे जलीवन में जो कुछ भली अचछा है, मेिे वरस्कततव
                                                                                                े
          में जो कुछ भली अचछा है, वो मां औि नपताजली कली हली देन   की बहन-बेरटयों क मलए
          है। आज जब मैं रहां नदललली में बै्ठा हूं, तो नकतना कुछ
          पुिाना राद आ िहा है।                                   असंभि हो।
             मेिली मां नजतनली सामानर हैं, उतनली हली असाधािण भली।   से भितली है। मां एक वरस्कत नहीं है, एक वरस्कततव नहीं है,

          ्ठलीक वैसे हली, जैसे हि मां होतली है। आज जब मैं अपनली मां   मां एक ट्वरूप है। हमािे रहां कहते हैं, जैसा भकत वैसा
          के बािे में नलख िहा हूं, तो पढ़ते हुए आपको भली रे लग    भगवान। वैसे हली अपने मन के भाव के अनुसाि, हम मां
          सकता है नक अिे, मेिली मां भली तो ऐसली हली हैं, मेिली मां भली तो   के ट्वरूप को अनुभव कि सकते हैं। मेिली मां का जनम,
          ऐसा हली नकरा कितली हैं। रे पढ़ते हुए आपके मन में अपनली   मेहसाणा नजले के नवसनगि में हुआ था। विनगि से रे
          मां कली छनव उभिेगली।                                   बहुत दूि नहीं है। मेिली मां को अपनली मां रानन मेिली नानली
             मां कली तपट्रा, उसकली संतान को, सहली इंसान बनातली   का पराि नसलीब नहीं हुआ था। एक शताबदली पहले आई
          है। मां कली ममता, उसकली संतान को मानवलीर संवेदनाओं



          46  न्यू इंडि्ा समाचार   1-15 जुलाई 2022
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